नई दिल्ली : केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने राज्यसभा में सड़क दुर्घटना पीड़ितों के लिए कैशलेस इलाज योजना के विस्तार की जानकारी दी। इस योजना के तहत दुर्घटना के शुरुआती सात दिनों में प्रति पीड़ित 1.5 लाख रुपये तक का कैशलेस इलाज सरकार वहन करेगी। योजना का उद्देश्य ‘गोल्डन ऑवर’ में त्वरित चिकित्सा सुविधा सुनिश्चित कर जानें बचाना है।

मंत्री ने सदन को बताया कि पहले कुछ क्षेत्रों में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू की गई यह योजना अब पूरे देश में लागू हो चुकी है। राज्य सरकारों के सहयोग से बिना किसी प्रारंभिक भुगतान के तुरंत उपचार उपलब्ध कराया जाएगा।

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एम्बुलेंस 10 मिनट में पहुंचेगी

गडकरी ने घोषणा की कि सरकार एक ऐसे मॉडल पर काम कर रही है, जिसमें विशेष एम्बुलेंस दुर्घटना स्थल पर 10 मिनट के अंदर पहुंच सके। इसके लिए आधुनिक एम्बुलेंस तैनात की जाएंगी और एक केंद्रीकृत आपात हेल्पलाइन को अपग्रेड किया जाएगा। विशेष रूप से खाई में गिरे वाहनों के लिए जरूरी उपकरणों वाली एम्बुलेंस उपलब्ध कराई जाएंगी। यदि एम्बुलेंस निर्धारित समय में पहुंचती है, तो सरकार संबंधित राज्यों के साथ एमओयू के तहत खर्च वहन करेगी।

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‘राह-वीर’ योजना में इनाम बढ़ाकर 25,000 रुपये

दुर्घटना पीड़ितों को अस्पताल पहुंचाने वाले गुड समारिटन को प्रोत्साहित करने के लिए ‘राह-वीर’ योजना के तहत इनाम को 5,000 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये कर दिया गया है। मदद करने वाले को ‘राहवीर’ की उपाधि भी दी जाएगी। मंत्री ने कहा कि इससे लोग ‘गोल्डन ऑवर’ में मदद करने के लिए आगे आएंगे।

गडकरी ने इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के अध्ययन का हवाला देते हुए बताया कि समय पर इलाज से हर साल करीब 50,000 सड़क दुर्घटना मौतों को रोका जा सकता है। आपात देखभाल में देरी कई मौतों की प्रमुख वजह है, जिसे दूर करने के लिए ये कदम उठाए जा रहे हैं।

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